उत्तराखंड- अब यहां शानदार मिट्टी के घर पर्यटकों को करेंगे आकर्षित, प्रशासन का गजब का प्लान

Nainital News- नैनीताल पर्यटन के लिए काफी जाना जाता है। यहां कई तरह के बने हुए होटल्स, कॉटेज और होमस्टे पर्यटकों को आकर्षित करते हैं। अब जिले के कई पर्यटन स्थलों में मिट्टी के घर और कॉटेज भी बनने जा रहे हैं जो आकर्षण का केंद्र तो होंगे ही साथ ही पर्यावरण की दृष्टि से भी अनुकूल हैं। नैनीताल के जिलाधिकारी धीराज सिंह गर्ब्याल ने नैनीताल जिले में मिट्टी के घरों के निर्माण करने की पहल शुरू की है। प्रशासन इसमें गीली मिट्टी संस्था की मदद लेगा।

मिट्टी के घरों के निर्माण के लिए पहले चरण में पायलट प्रोजेक्ट के तहत 5 गांव शामिल किए गए हैं। गीली मिट्टी फॉर्म की संस्थापक शगुन सिंह ने बताया की मिट्टी के घरों को एक अलग आर्किटेक्चर के साथ तैयार किया जाता है जिससे इसमें गर्मी, बारिश और बर्फ का कोई भी असर नहीं होता। यह घर प्राकृतिक संसाधनों की मदद से बनाए जाते हैं और पर्यावरण के अनुकूल होते हैं।एक घर बनाने में करीब ₹5 लाख तक का खर्चा आता है। नैनीताल के करीब 17 किमी दूर मेहरोड़ा गांव में गीली मिट्टी फार्म की तरफ से मिट्टी के घर बनाए गए हैं। नैनीताल में जिला प्रशासन गीली मिट्टी के सहयोग से मुक्तेश्वर, पंगोट, रामगढ़ व अन्य पर्वतीय स्थलों पर मिट्टी के घर बनाने जा रहा है।

नैनीताल के जिलाधिकारी धीरज सिंह ने बताया कि टूरिज्म को प्रमोट करने के लिए यह कदम उठाया गया है। शुरुवात में 5 गांवों को चिन्हित किया गया है, जहां मिट्टी के घरों का निर्माण होगा। इस घर को बनाने में खर्चा काफी कम आता है और साथ ही यह इको फ्रेंडली भी है। गर्मी के दौरान मकान ठंडे रहते हैं और सर्दी में गर्म रहते है। बताया कि इससे ग्रामीणों में रोजगार का जरिया बना रहेगा और पलायन भी रुकेगा। डीएम ने बताया कि मड बेस्ड इन स्ट्रक्चर्स को और बढ़ावा देने के लिए ग्रामीणों को जैविक खेती हॉर्टिकल्चर और फ्लोरीकल्चर के साथ जोड़ा जाएगा।