नहीं छोड़ी तैयारी और अब मिली कामयाबी, ये है उत्तराखंड के हिमांशु की कहानी
Uttarakhand News: Success Story: Himanshu Rawat: राज्य में पलायन हुआ है, इसकी एक वजह रोजगार भी है। कई लोग रोजगार के लिए दूसरे शहर चले गए तो कइयों को सरकारी नौकरी लगने की वजह से पहाड़ को छोड़ना पड़ा। हर किसी के सपने होते हैं और उन्हें पूरा करने में वक्त लगता है लेकिन जब कामयाबी मिलती है तो तमाम चुनौतियां सुखद अनुभव का अहसास देती है।
इस आर्टिकल में हम आपकों चमोली जिले के नंदप्रयाग ब्लाक के कोट कंडारा गांव निवासी हिमांशु रावत के बारे में बताने जा रहे हैं जिनका चयन केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल में हुआ है। हिमांशु ट्रेनिंग के बाद पुलिस बल में सब इंस्पेक्टर बनेंगे। हिमांशु के चयन के बाद कोट कंडारा गांव में खुशी का माहौल है। स्थानीय लोगों का कहना है कि हिमांशु की कामयाबी से अन्य युवा भी प्रेरित होंगे। हिमांशु रावत एक सैन्य परिवार से ताल्लुक रखने वाले हिमांशु के पिता जहां सशस्त्र सीमा बल (एसएसबी) में अपनी सेवाएं दे रहे हैं। वहीं उनकी माता एक कुशल गृहिणी हैं।
हिमांशु रावत की शिक्षा की बात करें तो उन्होंने प्रारम्भिक शिक्षा गांव के ही राजकीय प्राथमिक विद्यालय कोट कंडारा नंदप्रयाग से हासिल की। राजकीय इंटर कॉलेज गोचर से इंटर करने के बाद हिमांशु उच्च शिक्षा के लिए देहरादून चले गए। देहरादून के डीबीएस पीजी कॉलेज हिमांशु रावत ने स्नातक की डिग्री हासिल की। इसके साथ ही उन्होंने तैयारी भी शुरू कर दी और अब उनका चयन केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल में हो गया है।