भीषण गर्मी- पेयजल संकट जारी, प्राकृतिक जल स्रोत भी सूखने के कगार पर।

चमोली जनपद के जोशीमठ,बद्रीनाथ,और गोविंद धाम,फूलों की घाटी छेत्र में धार्मिक पर्यटन,तीर्थाटन,और प्रकृति पर्यटन यात्रा चरम पर है, प्रति दिन हजारों की संख्या में तीर्थ यात्रियों की आवाजाही जोशीमठ से बद्रीनाथ के मध्य जारी है,करीब 30 हजार की आबादी वाले सूबे की पहली सीमांत सरहदी नगर पालिका जोशीमठ छेत्र में इस बार शीतकाल की अच्छी बर्फबारी के बाद भी छेत्र के पेयजल श्रोत रीचार्ज नही हो पाए है, जिसका असर अब साफ दिखाई दे रहा है।

पीक सीजन और बढ़ती गर्मी और जन दबाव के कारण नगर छेत्र में जबरदस्त पेयजल संकट चल रहा है, नगर के होटलों में पेयजल आपूर्ति कम हो ही रही है साथ ही ग्रामीण क्षेत्र तक में लोगों के निजी पेयजल लाईन पर एक दो घण्टे भी बमुश्किल पीने का पानी की आपूर्ति हो पा रही है, जोशीमठ नगर को पेयजल आपूर्ति करने वाले मुख्य जल स्रोत परसारी, कोठी फार्म, छेत्र से जितना पानी की आपूर्ति पेयजल निगम के टैंको में हो रही है, श्रोत में पानी कम है और खपत दोगुनी बनी हुई है,उससे अधिक नगर वासियों की पानी की खपत बढ़ चुकी है,लिहाजा इस जल स्रोत की केपिसिटी से अधिक नगर में पेयजल कनेकशन बढ़ चुके है,लिहाजा पेयजल किल्लत होना लाजिमी है।

जोशीमठ नगर छेत्र में मुख्य बाजार से लेकर नरसिंह मंदिर, सिंहधार,मारवाड़ी चौक,रवि ग्राम वॉर्ड में पानी की जबरदस्त किल्लत बनी हुई है, बढ़ती गर्मी और पीने के पानी की खपत बढ़ने के कारण पानी की किल्लत बड़ गई है, और पेयजल निगम के वाटर टेंक समय से पहले ही खाली हो जा रहे है,नगर छेत्र के लिए पर्याप्त पानी की सप्लाई नहीं होने से लोगों को काफी दिक्कत हो रही है, आलम ये है कि जोशीमठ के प्रवेश द्वार से पहले बारामासी बहने वाला प्राकृतिक जल स्रोत जोगी धारा भी सूखने के कगार पर है, कई जल धाराओं का पानी मुहाने से ही सूख चुका है,यही हाल नगर छेत्र के कई प्राकृतिक जल धाराओं का है, पीने के पानी की किल्लत झेल रहे छेत्र के लोग अब इन्ही प्राकृतिक जल धाराओं से अपनी प्यास बुझा रहे है, जिन जगहों पर प्राकृतिक जल धाराएं नही है वहां लोग वाहनों के सहारे इन जल धाराओं से पीने का पानी भर कर किसी तरह काम चला रहे है, नगर छेत्र में इस तरह की पेयजल किल्लत इस गर्मी के सीजन में हर साल हो जाती है लेकिन पहली बार ऐसा हो रहा की प्राकृतिक जल धाराएं भी सूखने के कगार पर है, जो आने वाले वर्षो के लिए अशुभ संकेत माना जा रहा है,